3000 लेने के बाद भी विरासत दर्ज न करने का लेखपाल पर लगाए गंभीर आरोप।

Express Shadna

रुड़की झबरेड़ा निवासी किसान सुरेश सैनी पुत्र धर्मपाल सैनी ने हल्का लेखपाल पर अपने पिता की मृत्यु हो जाने के बाद खसरा नंबर 53 की भूमि को की भूमि को विरासत में चढ़ने के एवेज में ₹3000 लेने के बाद भी विरासत दर्ज न करने का गंभीर आरोप लगाया है सुरेश सैनी द्वारा हल्का लेखपाल धर्मेंद्र कुमार से कई बार विरासत दर्ज करने की गुहार लगाई गई लेकिन लेखपाल है कि मानता ही नही प्रार्थी सुरेश के द्वारा इसकी शिकायत रजिस्ट्री के माध्यम से प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से भी की गई जिसका मैसेज मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से प्रार्थी सुरेश कुमार के पास मौजूद है लेकिन भ्रष्टाचार किस कदर हावी हो चुका है इसका प्रमाण इस बात से मिल जाता है कि लेखपाल द्वारा विरासत दर्ज के एवेज में₹3000 किस काम के लिए गए इतना ही नहीं लेखपाल धर्मेंद्र द्वारा तीन बार दिए गए कागजात भी खो दिए जाते हैं प्रार्थी लेखपाल और कचहरी के चक्कर काटते काटते थक चुका है थक हार कर पीड़ित द्वारा एक प्रेस वार्ता का आयोजन कर अपनी बात को रखा जिसमें एक साथ कहीं अखबार और टीवी चैनल और सोशल मीडिया के लोग मौजूद रहे एक सवाल के जवाब में प्रार्थी सुरेश द्वारा बताया गया कि लेखपाल के बाद वह सीधे प्रार्थना पत्र मुख्यमंत्री को भेज दिए गए तहसीलदार या उप जिलाधिकारी या फिर जिलाधिकारी को मौखिक या पत्राचार द्वारा इसकी शिकायत नहीं की गई तो इस पर प्रार्थी ने जानकारी न होना बताया प्रार्थी सुरेश आज भी लेखपाल के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं चाहता अगर वह चाहता है तो बस अपनी जमीन विरासत में दर्ज हो जाए यही इसका मुख्य बिंदु है।

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